ताजमहल का रहस्य: जानिए बेगम मुमताज रोने का सच

   शाहजहां ने बेगम मुमताज की याद में ताजमहल का निर्माण करवाया | Taj Mahal

 जयपुर: दुनिया की विश्व प्रसिद्ध इमारत ताजमहल भारत के उत्तर प्रदेश राज्य, आगरा शहर में यमुना नदी के किनारे स्थित है। यह मकबरा मुगलकालीन शासन में अपनी बेगम मुमताज की याद में शाहजहाँ ने बनवाया था। जो पुरी दुनिया में सात अजूबो में से एक है। ताजमहल संगमरमर के पत्थर से निर्मित है। जिसके कारण चांदनी रात में ताजमहल का साॅन्दर्य दुगना हो जाता है। कहा जाता है कि उस युग में ताजमहल को बनाने में 20-25 लाख रूपये खर्च हुए थे। अब आप अंदाजा लगा सकते हैं कि कितना रूपये खर्च हुए थे।
Tajmahal

जिस कारीगर ने ताजमहल को बनाया था। उसको अपने प्यारे हाथ गँवाने पड़े थे। यह संगमरमर पत्थर से निर्मित ताजमहल शाहजहाँ और मुमताज के प्रम की निशानी है।
जिसे आज पुरी दुनिया वाकिफ हैं। बताया जाता है कि शाहजहाँ और मुमताज एक दुसरे इतना गहरा प्रेम करते थे। वो कभी पिछडना नही चाहते थे। लेकिन एक दिन समय आ चुका था जब मुमताज बीमारी से पीड़ित शाहजहाँ से पहले चल बसी, तब शाहजहाँ ने अपनी बेगम मुमताज की याद में ताजमहल बनवाया था। जो आज पुरे विश्व में अपनी सफेदी से शाहजहाँ और मुमताज के प्रम का प्रचार प्रसार करता है। उनके प्रम की याद दिलाता है। ताजमहल की दर पर हर वर्ष लाखो करोड़ों की तादाद में सैलानी यहाँ आते हैं।

क्या आज भी मुमताज शाहजहाँ से पिछड़ने की याद रोती है- Taj Mahal

दावा किया जाता है कि ताजमहल में मुमताज आज भी अपना आँसू बनाती है। जिस कक्ष में मुमताज को दफनायाँ गया था। उस कक्ष में आज भी अपने प्रेमी शाहजहाँ की याद में मुमताज रोती है। लेकिन हमारे मन में सवाल उठता है कि कोई स्त्री मरने के पश्चात भी अपने प्रेमी के लिए आँसू बहा सकती हैं क्या? क्या किसी की आत्मा मरने के बाद भी अपने प्रेमी की याद में तड़पती सकती है क्या? स्थानीय लोगों को कहना है कि रात के समय में मानो ताजमहल में से कोई स्त्री किसी दुःख से आँसू बहा रही हो, ऐसी रोने की आवाज आती है। इसलिए इस घटना को शाहजहाँ और मुमताज की प्रेम कहानी से जोड़ते है। लोगों का मानना है कि वह स्त्री कोई और नही मुमताज की आत्मा है। जो आज भी अपने प्रेमी शाहजहाँ की याद में आपना आँसू बहाती है।

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