जानिये आमेर फोर्ट के बारे में-
जयपुर: आज हम आपको राजस्थान की संस्कृति राजा महाराजाओं का इतिहास के बारे में अवगत कराएंगे। यू तो राजस्थान की धरती राजा महाराजा लोक देवता वीर योद्धा वीरांगनाओं की जन्म भूमि है। राजस्थान का इतिहास कुछ इस प्रकार से भव्य व अनोखा माना जाता है। यहां महाराणा प्रताप पृथ्वीराज चौहान दुर्गादास राठौड़ सवाई जयसिंह सवाई मानसिंह जैसे राजाओं की जन्म भूमि मानी जाती है।इन्हीं राजाओं ने राजस्थान की भूमिका इतिहास रंगा है। यहां अनेक प्रकार के दुर्ग महल किले देखने को मिलता है। लेकिन हम आपको आज जयपुर के आमेर किले का इतिहास बताएंगे। राजस्थान में आमेर का किला जयपुर शहर की पहाड़ियों पर कुछ दूरी पर स्थित है। आमेर किले का निर्माण राजा मानसिंह प्रथम ने करवाया था। यह जयपुर का आमेर किला देश के पर्यटन स्थलों में से एक माना जाता है। यहां हर हजारों की संख्या में पर्यटक घूमने आते हैं। आमेर का किला हिंदुतत्व की अपनी कलात्मक शैली के लिए जाना जाता है।
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Aamer Fort |
जानिये जयपुर में स्थित आमेर फोर्ट का इतिहास-
जयपुर का आमेर किला व जयगढ़ किला चील के मिट्टी के टीले के समान अरावली पर्वत पर विराजमान है। लेकिन इन किलों की कुछ खास विशेषता है। यह दो किले अलग-अलग दूरी पर होने पर भी दूर से देखने पर दोनों एक विशाल के दुर्ग के रूप में दिखाई देते हैं। लेकिन यह दोनों दुर्गे एक न हो कर अलग-अलग दूरी पर स्थित है। लेकिन दोनों दुर्गे एक दुसरी पहाड़ी से सुरग होने से जुड़े हुए हैं। जयपुर में आमेर से लेकर जयगढ़ किले तक सुरंग बनाने का यह उद्देश्य था। की युद्ध के समय राजपरिवार के लोग वह खाद्य सामग्री को सुरक्षित दूसरे दुर्ग में पहुंचाया जा सके। आमेर के किले में मुगलों और हिंदुओं के शिल्प कला का मिला-जुला अद्वितीय नमूना मिलता है। यहां जयपुर से पहले कछवा राजपूत वंशजों की राजधानी थी। सबसे पहले इस ग्रुप का निर्माण राजा मान सिंह ने करवाया था। आमेर की पहाड़ियों पर बना। यह महल चारों तरफ से टेडे मेडे हुए रास्तों से भरा पड़ा है।
जयपुर के आमेर किले को बनाने में लाल व सफेद मार्बल पत्थर का अच्छी तरह से उपयोग किया गया है। महल को इस तरह से बनाया गया है कि जो देखने लायक व आकर्षित है। इसे महल के अंदर कई प्राचीन काल के भव्य मंदिर देखने योग्य हैं जैसेजय मंदिर शीश महल सुख निवास और गणेश पोल आदि। MS सभी मंदिरों का निर्माण राजा मानसिंह नेे दो सदी के शासन काल मेंं करवाया था। आमेर में प्राचीन नगर किले के पास नीचे की ओर बसा था।